पंचायत दिशा समाचार
छिंदवाड़ा / छिंदवाड़ा जिलें के चौरई तहसील में इन दिनों मनमानी के लिए पहचाने जाने बाला फर्स्ट स्टेप प्राईवेट स्कूल, जहां स्कूल में पढाई करने वाले बच्चे हाई स्पीड में बायपास में बाईक दौड़ाते नजर आते है, जिसमें न तो स्कूल प्रबंधन ध्यान दे रहा है नही बच्चों के पालक, सवल यह खड़ा होता है कि वदिऐसे ही नाबालिक बाइकर्स हाइवे में धूम मचाते रहे, तो हादसा होने पर जिम्मेदार कौन रहेगा क्यों कि बच्चे स्कूल आने के लिए बाइक का उपयोग कर रहे है जबकि लगभग सभी बच्चे नाबालिक है फिर भी तेज गति से बाईपास में बाइक दौड़ा रहे है।

हालांकि यह स्कूल की बड़ी लापरवाही है कि बच्चों को बाइक लेकर स्कूल बुलाया जा रहा है, फस्र्ट स्टेप स्कूल पहले से चचाओं में रहा है, फिर एक बार स्कूल की लापरवाही किसी के हादसे का निमित्त बन सकता है, सबसे ज्यादा गाड़िया चौरई के बाहर बायपास से निकलती है और वही से नाबालिक बच्चे स्कूटी च
सुरक्षा की दृष्टि से अनुचित स्थान पर स्कूल बिल्डिंग
कल्पास के सबद्ध संचालित ही रहा फर्स्ट स्टेप स्कूल सुरक्षा की दृष्टि से अनुचित स्थान पर है क्यों की बायपास में अत्यधिक गति से गाड़िया दौड़ती है तो यही सुबह सुबह वो भी नाही तेज गति से भगाते नजर आते है अस्तु यह बावजस को क्रॉस कर जाना साइकल व पैदल स्कूल जाने वाले विद्यार्थियों के लिए भी खतरा बना रहता है क्यों की मौत का गढ़ इस बावास में दिन भयानक रह पाने वाले हादसे होते रहते है। इस पूरे मामले में जब बौरई विकासखंड शिक्षा अधिकारी को कॉल किया गया से उन्होंने कॉल नहीं उठाय।

सुबह सुबह बच्चों को स्कूल आने की जल्दी रहती है तथा इसी कारण से बालों की गाड़ी भी स्पीड में रहती है
मोटरसाइकल लेकर स्कूल आते है जो की नियमों के विरुद्ध है क्यों की शासन के सख्त निर्देश है कि
- इनका कहना है
नाबालिक बजे मोटरसाइकल चलाते पाए जाने पर कालानी कार्यवाही की जायगी, एवं पालकों से बात की जायेगी, स्कूत प्राकर्य से भी बात की जाएगी ताके नाबालिक बच्चों को मोटरसजकल से न बुलवाया जाए – गणपत उईके, थाना प्रभारी चौरई
स्कूल आने की जल्दी, बन सकती है हादसे का कारण
जबकि बायपास से पल पल में सैकड़ों गाड़िया गुजरती है गर जल्द ही नाबालिक बाइकर्स पर लगान नहीं
नाबालिको को गाड़ी न चलाने दिया जाएं और गाड़ी चलाने पर सख्त कार्यवाही होना अति आवश्यक है
लगाई गई तो बढ़ा हादसा हो सकता है जिसका जिम्मेदार स्कूल प्रबंधन होगा।
स्कूल प्राचार्य का ध्यान देना आवश्यक है कि नाबालिक बच्चे मोटरसाइकल चलाते स्कूल न आए।